लोह पुरुष "सरदार वल्लभ भाई पटेल का जन्म 31 अक्टूबर 1875 को नाडियाड गुजरात में एक गुजरती कृषक परिवार में हुआ था ! आप स्वतंत्र भारत के प्रथम गृह मंत्री थे ! देसी रियासतों का स्वतंत्र भारत में एकीकरण आपकी एक बहुत बड़ी उपलब्धि थी ! बारडोली कसबे में सशक्त सत्याग्रह करवाने के लिए ही आपको सरदार कहा जाने लगा ! 15 दिसम्बर 1950 को मुंबई में आपका निधन हो गया ! आप सच्चे अर्थों में स्वतंत्र भारत के निर्माता और राष्ट्र एकता के बेजोड़ शिल्पी थे !
सरदार वल्लभ भाई पटेल के अनमोल कथन ---
- जो काम कल करना है ,उसकी बातों में ही आज का काम बिगड़ जाएगा ! और आज के काम के बिना कल का काम नहीं होगा ! आज का काम कीजिये ,तो कल का काम अपने आप हो जाएगा !
- काम करने में तो मजा ही तब आता है ,जब उसमे मुसीबत होती है ! मुसीबत में काम करना बहादुरों का काम है ! मर्दों का काम है ! कायर तो मुसीबतों से डरते हैं ! लेकिन हम कायर नहीं हैं ,हमें मुसीबतों से डरना नहीं चाहिये !
- लोहा भले ही गरम हो जाए ,परन्तु हथोड़े को तो ठंडा ही रहना चाहिये ! हथोडा गरम हो जाए तो अपना ही हत्था जला देगा !
- मेरी तो आदत पड़ गई है की जहाँ पैर रख दिया ,वहां से पीछे न हटाया जाए !जहाँ पैर रखने के बाद वापस लोटना पड़े ,वहां पैर रखने की मुझे आदत नहीं ,अँधेरे में कूद पड़ने का मेरा स्वभाव नहीं है !
- अविश्वास भय का कारण है !
- जो तलवार चलाना जानते हुए भी तलवार को म्यान में रखता है ,उसी की अहिंसा सच्ची कही जाएगी ! कायरों की अहिंसा का क्या मूल्य ?
- इंसान जितने सम्मान के लायक हो ,उतना ही उसका सम्मान करना चाहिये ,उससे अधिक नहीं करना चाहिये ,नहीं तो उसके नीचे गिरने का डर रहता है !
- मान-सम्मान किसी के देने से नहीं मिलते ,अपनी योग्यतानुसार मिलते हैं !
- थका हुआ इंसान दोड़ने लगे ,तो स्थान पर पहुँचने के बजाय जान गंवा बेठता है ! ऐसे समय पर आराम करना और आगे बढ़ने की ताकत जुटाना उसका धर्म हो जाता है !
- मुफ्त चीज मिलती है ,तो उसकी कीमत कम हो जाती है ! परिश्रम से पाई हुई चीज की कीमत ही ठीक तरीके से लगाई जाती है !
- कोशिश करना हमारा फर्ज है ! अगर हम अपने फर्ज को पूरा ना करें तो हम ईश्वर के गुनहगार बनते हैं !
- बहुत बोलने से कोई लाभ नहीं ,बल्कि हानि ही होती है !
- जवानी को जाते देर नहीं लगती ,और गई हुई जवानी फिर वापस नहीं आती ! जो मनुष्य जवानी के एक एक पल का उपयोग करता है ,वह कभी बूढा नहीं होता ! सदा जवान बने रहने की इच्छा वाला मनुष्य मरते दम तक अपने कर्त्तव्य पालन में जुटा रहता है !
- विश्वास रख कर आलस्य छोड़ दीजिये ,वहम मिटा दीजिये ,डर छोड़िये ,फूट का त्याग कीजिये ,कायरता निकाल डालिए ,हिम्मत रखिये ,बहादुर बन जाइए ,और आत्मविश्वास रखना सीखिए ! इतना कर लेंगे तो आप जो चाहेंगे ,अपने आप मिलेगा ! दुनिया में जो जिसके योग्य है ,वह उसे मिलता ही है !
- जीवन की डोर तो ईश्वर के हाथ में है ,इसलिए चिंता की कोई बात हो ही नहीं सकती !
- उतावले उत्साह से बड़ा परिणाम निकलने की आशा नहीं रखनी चाहिये !
- कठिनाइयाँ दूर करने का प्रयत्न ही न हो ,तो कठिनाइयाँ मिटें कैसे ? मुश्किलें दिखते ही हाथ-पैर बाँध कर बैठ जाना और उन्हें दूर करने की कोशिश न करना निरी कायरता है !
- यह सच है की पानी में तैरने वाले ही डूबते हैं ,किनारे खड़े रहने वाले नहीं ! मगर ऐसे लोग तैरना भी नहीं सीखते !
- हमें गम खाना सीखना चाहिये ! मान-अपमान सहन करने की आदत डालनी चाहिये !
- अपने जीवन में हम जो कुछ कर पाते हैं ,वह कोई बड़ी बात नहीं ,जिसके लिए हम मगरुरी ले सकें ! क्योंकि जो कुछ हम करते हैं ,उसमे हमारा क्या भाग है ? असल में कराने वाला तो खुदा है !
- हमें चिंता कभी नहीं करनी चाहिये ! जितना दुःख भोगना नसीब में लिखा होगा ,उतना भोगना ही पड़ेगा !
- जीवन में सब दिन एक से नहीं जाते !
- पिछला दुखड़ा रोना कायरों का काम है ! हिसाब लगा कर मुकाबले की तैयारी करना बहादुरों का काम है !
- कल हमें कोई मदद देने वाला है ,इसलिए आज बेठे रहे ,तो आज भी बिगड़ जाएगा ,और कल तो बिगड़ेगा ही !
- भगवान् के आगे झुकना चाहिये ,दूसरों के आगे नहीं ! हमारा सर कभी ना झुकने वाला होना चाहिये !
- बेकार मत बेठिये ! बेकार बेठने वाला सत्यानाश कर डालता है ! इसलिए आलस्य छोड़िये ! रात-दिन काम करने वाला इन्द्रियों को आसानी से वश में कर लेता है !
- बोलने में मर्यादा मत छोड़ना ,गालियाँ देना तो कायरों का काम है !
- आम का फल समय से पहले तोड़ोगे तो वह खट्टा लगेगा , दांत खट्टे हो जाएंगे ! मगर उसे पकने देंगे तो वह अपने आप टूट जाएगा और अमृत के सामान लगेगा !
- जब तक हमारा अंतिम ध्येय प्राप्त ना हो जाए ,तब तक उत्तरोत्तर अधिक कष्ट सहन करने की शक्ति हमारे अन्दर आये ,यही सच्ची विजय है
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